दिल्ली। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (मार्क्सवादी) के सदस्य वृंदा करात और पुष्पिंदर सिंह ग्रेवाल, सोमवार को दिल्ली के मंदिर मार्ग पुलिस स्टेशन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) के खिलाफ शिकायत लेकर पहुंचे. ये नेता पीएम मोदी की ‘घुसपैठिया’ टिप्पणी को लेकर शिकायत दर्ज कराने पहुंचे थे. CPI(M) नेताओं ने आरोप लगाया कि पीएम मोदी ने ऐसे बयान दिए हैं, जो समुदायों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देते हैं और भारत में राष्ट्रीय एकता को नुकसान पहुंचाते हैं. मंदिर मार्ग पुलिस स्टेशन द्वारा FIR न दर्ज किए जाने के बाद, शिकायत पुलिस आयुक्त को भेज दी गई.
रविवार को राजस्थान के बांसवाड़ा में एक रैली को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस पर धन के पुनर्वितरण सर्वेक्षण के वादे को लेकर निशाना साधा. इस दौरान उन्होंने कहा कि अगर कांग्रेस पार्टी सत्ता में आई, तो वह देश की संपत्ति ‘घुसपैठियों’ और ‘ज्यादा बच्चे पैदा करने वालों’ में बांट देगी. CPI(M) नेताओं द्वारा की गई शिकायत में कहा गया है कि हम प्रधानमंत्री नरेंद्री मोदी द्वारा की गई टिप्पणियों के संबंध में शिकायत करने के लिए लिख रहे हैं. नरेंद्र मोदी के एक भाषण को हम धारा 153ए/153बी/298/504/505 आईपीसी के तहत अभद्र भाषा मानते हैं.
सीपीआई(एम) ने दावा किया कि मोदी का भाषण भारत के सांप्रदायिक विवाद के ऐतिहासिक मौकों की याद दिलाता है. अधिकारियों को इन आरोपों को गंभीरता से लेना चाहिए, हम प्रधानमंत्री के खिलाफ तुरंत कार्रवाई करने की मांग करते हैं. सीपीआई(एम) ने शिकायत में कहा कि राजस्थान के बांसवाड़ा में 21 अप्रैल 2024 को एक चुनावी रैली के दौरान दिए गए भाषण में नरेंद्र मोदी ने जानबूझकर और रणनीतिक रूप से मुस्लिम विरोधी शब्दों का इस्तेमाल किया, जिससे हिंदू समुदाय को यह लगे कि उनकी संपत्ति खतरे में है. पीएम मोदी ने इस दौरान कहा कि हिंदू समुदाय की संपत्ति, विशेष रूप से (हिंदू) महिलाओं का सोना और मंगलसूत्र, कांग्रेस पार्टी द्वारा मुस्लिम समुदाय के सदस्यों को बांट दिया जाएगा.